उन्नाव। उन्नाव में इब्राहिम बाग स्थित भगवान चित्रगुप्त धाम में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा महायज्ञ के चौथे दिन सुविख्यात कथा प्रवक्ता पूज्य संत पंडित राम शरण शास्त्री जी महाराज ने कृष्ण जन्म की दिव्य कथा सुनाई। इस आयोजन का सफल समापन सनातन परिवार सत्संग सेवा समिति, वृंदावन के सहयोग और कायस्थ वेलफेयर सोसाइटी के तत्वावधान में हुआ, जिसमें प्रमुख यजमान डॉ. संजय मिश्रा और संयोजक पवन निगम ने अहम भूमिका निभाई।
कथा के दौरान पंडित राम शरण शास्त्री ने भक्तों को भगवान श्री कृष्ण के जन्म के समय की गहन घटनाओं से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि भाद्रपद कृष्ण अष्टमी तिथि की अंधेरी रात में मथुरा के कारागार में वसुदेव और देवकी के गर्भ से भगवान श्री कृष्ण का जन्म हुआ था। इस तिथि की महिमा पूरी दुनिया में मनाई जाती है, जो कंस के अत्याचारों को समाप्त करने वाले भगवान कृष्ण के आगमन की याद दिलाती है।
कथा में पंडित राम शरण शास्त्री ने द्वापर युग की घटनाओं का उल्लेख करते हुए बताया कि कंस ने अपनी बहन देवकी के पुत्रों को मारने की योजना बनाई थी। आठवें बालक के रूप में भगवान श्री कृष्ण का जन्म हुआ, जिसे वसुदेव जी ने अपनी जान की बाजी लगाकर मथुरा से वृंदावन भेजा। इस दौरान भगवान ने अपने दिव्य रूप में वसुदेव और देवकी को आशीर्वाद दिया और उन्हें सांत्वना दी कि वे अब भय मुक्त हो सकते हैं।
जन्मोत्सव में उपस्थित श्रद्धालु भक्तों ने नाचते-गाते हुए कृष्ण जन्म की खुशी का इज़हार किया। कथा स्थल पर कृष्ण की महिमा का गुणगान करते हुए श्रद्धालुओं ने कृष्ण जन्मोत्सव का आनंद लिया। इस आयोजन में विशेष रूप से डॉ संजय मिश्रा, पवन निगम, आशीष निगम, डॉ मनोज श्रीवास्तव, अरविंद श्रीवास्तव, सौरभ श्रीवास्तव सहित अनेक प्रमुख लोग उपस्थित रहे।